दिल्ली का
व़ी आई पी एरिया
जहाँ पर है
हरे भरे घने बड़े-बड़े
पेड़ो का घेरा
वहां पर है
देश के भावी
नेताओ का डेरा
साँझ होते होते
घने पेड़ो पर
लग जाता है
बडे-बडे
चमगादड़ो का मेला
देखिये कुदरत का खेल
एक ही जगह पर है
दोनों का मेल
है दोनों में कितना भाईचारा
काम भी एक है
खून पीना
चमगादड़ पीते है
भोले भाले जानवरों व पशुओं का खून
भावी नेता पीते है
देश की
भोली भली जनता का खून !
व़ी आई पी एरिया
जहाँ पर है
हरे भरे घने बड़े-बड़े
पेड़ो का घेरा
वहां पर है
देश के भावी
नेताओ का डेरा
साँझ होते होते
घने पेड़ो पर
लग जाता है
बडे-बडे
चमगादड़ो का मेला
देखिये कुदरत का खेल
एक ही जगह पर है
दोनों का मेल
है दोनों में कितना भाईचारा
काम भी एक है
खून पीना
चमगादड़ पीते है
भोले भाले जानवरों व पशुओं का खून
भावी नेता पीते है
देश की
भोली भली जनता का खून !
3 comments:
"दोनों में कितना भाईचारा
काम भी एक है
खून पीना
चमगादड़ पीते है
भोले भाले जानवरों व पशुओं का खून
भावी नेता पीते है
देश की
भोली भली जनता का खून !"
बहुत खूब !!!
गुप्ताजी आप तो छुपे रुस्तम निकले. इंजिनीअर होके भी इतनी बढ़िया कविता लिखते है
keep it up and wish you all the best
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